सॉफ्टवेयर इंजीनियर कैसे बनें – सॉफ्टवेयर इंजीनियर एक ऐसा व्यक्ति होता है जो प्रौद्योगिकी/तकनीकी के माध्यम से कंप्यूटर सॉफ्टवेयर के डिजाइन, विकास, रखरखाव, परीक्षण और मूल्यांकन के लिए सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग के सिद्धांतों को लागू करता है या यूँ कहे तो सॉफ्टवेयर इंजीनियर वह व्यक्ति होता है जो कंप्यूटर का उपयोग करके नई-नई तकनीक विकसित करता है। जिससे हम अपने काम बड़ी आसानी से कर सकते हैं। अगर आप भी जानना चाहते हैं कि सॉफ्टवेयर इंजीनियर कैसे बनें तो इस लेख को अंत तक जरूर पढ़ें।
सॉफ्टवेयर इंजीनियर नाम बोलना बहुत ही आसान है लेकिन इसकी पढ़ाई करना थोड़ा मुश्किल है। लेकिन जिसने कामयाबी हासिल कर ली, वह तकनीकी के क्षेत्र में महारथ हासिल कर सकता है। सॉफ्टवेयर इंजीनियर प्रोग्रामिंग तथा डिजाइनिंग करके सॉफ्टवेयर्स और ऍप्लिकेशन्स का निर्माण करते हैं। मूलत: सॉफ्टवेयर इंजीनियर दो प्रकार के होते हैं, एक एप्प डेवलपर और दूसरा वेब डेवलपर।
सॉफ्टवेयर इंजीनियर से जुड़े आंकड़े
यह जानने से पहले कि सॉफ्टवेयर इंजीनियर कैसे बनें, एक नज़र इन आंकड़ों पर जरूर डालें।
- भारत में औसतन सैलरी : 4 लाख से 10 लाख रूपये
- विदेश में औसतन सैलरी : 10 लाख से चार 78 लाख
- हर साल होने वाली ग्रोथ : 20 प्रतिशत
- अवसर वाली इंडस्ट्री : सॉफ्टवेयर, गेमिंग, आर्टीफिशयल इंटेलीजेंस आदि
सॉफ्टवेयर इंजीनियर की पढ़ाई पर आने वाला औसतन खर्च
सॉफ्टवेयर इंजीनियर की पढ़ाई पर होने वाला औसत खर्च भारत में 4 लाख से शुरू होकर 30 लाख रुपए तक है। पढ़ाई पर होने वाला खर्च हमेशा कॉलेज और यूनिवर्सिटी पर निर्भर करता है। विदेशों में सॉफ्टवेयर इंजीनियर की पढ़ाई पर 7 लाख से 60 लाख तक औसतन ख़र्च होता है। ऑनलाइन पढ़ाई पर खर्च औसतन 90 हजार प्रति वर्ष होता है। भारत में पढ़ाई विदेशों के मुकाबले सस्ती है.
सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सालाना आय
“भारत में सॉफ्टवेयर इंजीनियर की सालाना आय 4 लाख से शुरू होकर 60 लाख तक है. विदेशों में 10 लाख से 78 लाख तक सालाना आय हो सकती है। “
एक आँकड़े के अनुसार 2018 में भारत में 52 लाख लोगों को इस क्षेत्र में नौकरियां मिली थी जो कि अमेरिका के 45 लाख के आँकड़े को भी पार कर गया था। 1998 में भारत में सिर्फ 1.2 फ़ीसदी सॉफ्टवेयर इंजीनियर थे। आज यह संख्या लगभग 9 फ़ीसदी है जो कि 2028 तक 21 फ़ीसदी हो सकती है। औसतन 19.4 फ़ीसदी एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर की वेतन में बढ़ोतरी होती है।
सॉफ्टवेयर इंजीनियर बनने के लिए कौन—कौन से कोर्स कर सकते हैं

आज के समय में सॉफ्टवेयर इंजीनियर की पढ़ाई के लिए बहुत से विकल्प मौजूद है। सॉफ्टवेयर इंजीनियर बनने के लिए कंप्यूटर प्रोग्रामिंग लैंग्वेजेज का ज्ञान होना बहुत आवश्यक है। महत्त्वपूर्ण कंप्यूटर प्रोग्रामिंग लैंग्वेजेज है – SAS, Python, R, Ruby, C, C++, C#, Java, SQL आदि। आप कॉलेज और ऑनलाइन दोनों से इसकी पढाई पूरी कर सकते है। सॉफ्टवेयर इंजीनियर बनने के लिए नीचे दिए गए विकल्प आपके लिए मौजूद है।
- बेचलर इन टेक्नोलॉजी सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग
- एसोसिएट सॉफ्टवेयर इंजीनियर
- मास्टर इन टेक्नोलॉजी सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग (M.Tech)
- मैकेनिकल इंजीनियर इन सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग (ME)
- मास्टर ऑफ़ साइंस इन सॉफ्टवेयर सिस्टम (MSC.)
- मास्टर ऑफ़ साइंस इन सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग
- Ph.D. इन सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग
- डिप्लोमा इन कंप्यूटर प्रोग्रामिंग एंड सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग
- डिप्लोमा इन सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग
- पोस्ट ग्रेजुएट इन सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग
- सर्टिफिकेशन इन सॉफ्टवेयर डिज़ाइन इंजीनियरिंग
- सर्टिफिकेशन इन कंप्यूटर सॉफ्टवेयर
- सर्टिफिकेशन इन कंप्यूटर सॉफ्टवेयर एप्लीकेशन
- ऑनलाइन सॉफ्टवेयर डेवलपर डिग्री प्रोग्राम इनफार्मेशन
- बेचलर इन प्रोग्राम डिज़ाइन
- बेचलर इन कंप्यूटर सिस्टम एनालिसिस
- बेचलर इन नेटवर्किंग
- बेचलर इन कंप्यूटर आर्किटेक्चर
- एसोसिएट इन डेटाबेस
- एसोसिएट इन सर्वर मैनेजमेंट
- बेचलर इन सॉफ्टवेयर क्वालिटी अस्योरेंस
- बेचलर इन सॉफ्टवेयर प्रोजेक्ट मैनेजमेंट
- बेचलर इन सॉफ्टवेयर कॉन्फ़िगरेशन मैनेजमेंट
- बेचलर इन सॉफ्टवेयर टेस्टिंग एंड वेलिडेशन
- बेचलर इन सॉफ्टवेयर रिक्वायरमेंट्स एंड मॉडलिंग
सॉफ्टवेयर इंजीनियर की पढ़ाई के लिए भारत में टॉप कॉलेज
- इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी
- नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ इनफार्मेशन एंड टेक्नोलॉजी
- इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंजीनियरिंग साइंस एंड टेक्नोलॉजी
- बिरला इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नॉलजी एंड साइंस पिलानी राजस्थान
- RV कॉलेज ऑफ़ इंजीनियरिंग कर्नाटक
- मोतीलाल नेहरू इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी इलाहाबाद
- सविता इंजीनियरिंग कॉलेज प्रयागराज उत्तरप्रदेश
- पेस यूनिवर्सिटी बैंगलोर
- न्यू होराइजन इंजीनियरिंग कॉलेज बैंगलोर
- वीरमाता जीजाबाई टेक्नोलॉजिकल इंस्टिट्यूट मुंबई
- मणिपाल इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी
- विश्वेसराया कॉलेज ऑफ़ इंजीनियरिंग बैंगलोर
- विश्वेसराया टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी
- SRM इंस्टिट्यूट ऑफ़ साइंस एंड टेक्नोलॉजी चेन्नई
- तिरुमाला इंजीनियरिंग कॉलेज हैदराबाद
- अर्जुन कॉलेज ऑफ़ टेक्नोलॉजी एंड साइंस हैदराबाद
- अमिटी यूनिवर्सिटी
- जैन कॉलेज
- गोयनका यूनिवर्सिटी
- दिल्ली टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी
- यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ़ इनफार्मेशन एंड कम्युनिकेशन टेक्नोलॉजी दिल्ली
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सॉफ्टवेयर इंजीनियर के लिए रोजगार के अवसर
- गेम डेवलपर
- डेटाबेस एडमिनिस्ट्रेटर
- वेब डिज़ाइनर
- वेब डेवलपर
- एप्प डेवलपर
- कॉडर
- प्रोग्रामर
- कंप्यूटर लैंग्वेज क्रिएटर
- सॉफ्टवेयर टेस्टर
- सॉफ्टवेयर इंजीनियर
- डाटा साइंस
- सर्वर मेंटेनर
- वेब ग्राफ़िक डिज़ाइनर
- एप्लीकेशन एनालिस्ट
- आईटी कंसलटेंट
- आईटी टेक्निकल सपोर्ट ऑफिसर
- साउंड डिज़ाइनर
- सिस्टम एनालिस्ट
- इनोवेशन एनालिस्ट
- टेक्निकल बिज़नेस एनालिस्ट
- बिज़नेस सिस्टम इंजीनियर
- सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग स्पेशलिस्ट
- डेवलपर स्पेशलिस्ट
- डेटाबेस एनालिस्ट
- जावास्क्रिप्ट
- कंप्यूटर लैंग्वज स्पेशलिस्ट
- बिगडाटा
- हडूप
- डाटा स्ट्रक्चर
- GUI स्पेशलिस्ट
- बूटस्ट्रैप स्पेशलिस्ट
- एंगुलर लैंग्वेज स्पेशलिस्ट
- फ्रंट एन्ड प्रोडक्ट डिज़ाइन
- जावा स्ट्रेटेजी
- SQL एंड फ्लो चार्ट
- UI/UX सॉफ्टवेयर इंजीनियर
- XML एंड वेब टेक्नोलॉजी
- कोर जावा स्पेशलिस्ट
- अल्गोरिथ्म्स स्पेशलिस्ट
- लिनक्स एडमिनिस्ट्रेशन
- मोबाइल एप्लीकेशन डेवलपर
सरकारी नौकरी के सेक्टर में सॉफ्टवेयर इंजीनियर का महत्त्व

तेजी से बढ़ते सूचना प्रौद्योगिकी के प्रसार और उससे होने वाले समय की बचत के कारण कंप्यूटर इंजीनियर्स की मांग तेजी से बढ़ी रही है। यह तो साफ़ है कि प्राइवेट में इसकी मांग और उभरती संभावनाएं है लेकिन सरकारी विभागों और सरकारी संस्थानों में भी कंप्यूटर इंजीनियर के लिए अवसरों की संख्या में तेजी से बढ़ोत्तरी हुई है। इसका एकमात्र कारण है समय प्रबंधन और मैन पावर में बचत। जिससे कम समय में कार्य को तेजी से किया जा सके। सरकारी कार्यों को करने के लिए भी सर्वर, डेटाबेस, सॉफ्टवेयर, हार्डवेयर, नेटवर्किंग और संचार से जुड़ी चीजों की जरुरत पड़ती है। उसको संभालने के लिए सॉफ्टवेयर इंजीनियर की आवश्यकता होती है।
देश में चाहे राज्य या केंद्र के कार्यों जैसे सूचना प्रौद्योगिकी, इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास, प्रोजेक्ट एनालिसिस इत्यादि के लिए कंप्यूटर इंजीनियरिंग प्रोफेशनल्स की काफी भूमिका होती है। यही कारण है कि कंप्यूटर इंजीनियरिंग के क्षेत्र में प्राइवेट सेक्टर के साथ-साथ सरकारी संगठनों में भी नौकरियों के अवसर उपबल्ध होने लगे हैं। शिक्षा के स्वरुप को भी अच्छा करने के लिए वर्तमान में सरकारी स्कूलों या सरकारी तकनीकी शैक्षणिक संस्थानों, कई सरकारी योजनाओं जैसे आयुष्मान योजना का डेटाबेस तैयार करने एवं सरकारी कार्यक्रमों को सही दिशा देने के लिए सॉफ्टवेयर इंजीनियर की मांग बढ़ रही है जिससे सरकारी नौकरियों में भी तकनीकी का उपयोग किया जा सके।
सॉफ्टवेयर इंजीनियर के लिए नौकरी में पद
- सॉफ्टवेयर इंजीनियर
- सीनियर सॉफ्टवेयर इंजीनियर
- टेक्निकल लीडर
- प्रिंसिपल सॉफ्टवेयर इंजीनियर
- टीम लीडर
- प्रोजेक्ट लीडर
- स्टाफ इंजीनियर
- एसोसिएट मैनेजर
- एसोसिएट लीड
- प्रोजेक्ट मैनेजर
- एसोसिएट ट्रेनी
- सिस्टम इंजीनियर
- सॉफ्टवेयर आर्किटेक्ट
- इंजीनिरिंग मैनेजर
- डोमेन मैनेजर
- टेक्निकल डायरेक्टर
- इंजीनियरिंग लीड
- जनरल मैनेजर टेक्नोलॉजी
- जूनियर सॉफ्टवेयर डेवलपर
- जूनियर सॉफ्टवेयर प्रोग्रामर
- सीनियर डेवलपर
- सीनियर प्रोग्रामर
- जूनियर सॉफ्टवेयर आर्किटेक्ट
- सीनियर कंसलटेंट
- चीफ टेक्निकल ऑफिसर
- सीनियर कंप्यूटर प्रोग्रामर
- सीनियर टेस्टिंग एसोसिएट
- टेक्निकल लीड
- चीफ आर्किटेक्ट
- चीफ इंजीनियरिंग ऑफिसर
- चीज डिजिटल ऑफिसर
- चीफ इनोवेशन ऑफिसर
- इंजीनियरिंग लीड
- इंजीनियरिंग प्रोजेक्ट मैनेजर
- इंटर्न सॉफ्टवेयर डेवलपर
- वाईस प्रेजिडेंट ऑफ़ प्रोडक्ट मैनेजमेंट
- जूनियर डिजिटल एसोसिएट
सॉफ्टवेयर इंजीनियर में अनुभव के बाद मिलने वाले अवसर
सॉफ्टवेयर इंजीनियर के पास बहुत विकल्प है। कोई भी सॉफ्टवेयर इंजीनियर 5 से 6 साल अनुभव के बाद किसी भी कंपनी में विभिन्न पदों पर कार्य कर सकता है। कोई भी सॉफ्टवेयर इंजीनियर अपनी कंपनी भी शुरू कर सकता है.
- प्रोजेक्ट मैनेजर
- अकाउंट मैनेजर
- अकाउंट एग्जीक्यूटिव
- वाईस प्रेजिडेंट मार्केटिंग
- बिज़नेस हेड
- डेवलपर सोल्युशन आर्किटेक्ट
- चीफ हेड ऑफ़ कंपनी
- मैनेजर ऑपरेशन्स
- चीफ इनफार्मेशन ऑफिसर
- प्रोजेक्ट डायरेक्टर
- मार्केटिंग डायरेक्टर
- प्रोग्राम मैनेजर
- डायरेक्टर
- बिज़नेस प्लान हेड
- डिजिटल हेड
- मार्केटिंग हेड
- ह्यूमन रिसोर्स हेड
- स्टार्ट अप
- सर्वर डेवलपर मैनेजर
- डेस्कटॉप मैनेजर
- रिपोर्टिंग हेड
- नेटवर्किंग डायरेक्टर
- नेटवर्क सिक्योरिटी हेड
- आउटसोर्सिंग मैनेजर
- टीम मैनेजर
- सीनियर मैनेजर
- असिस्टेंट वाईस प्रेसिडेंट
- बिज़नेस एरिया हेड
सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग का भविष्य ना केवल प्राइवेट जॉब्स में बल्कि सरकारी नौकरियों में भी उज्जवल है। यह 21वीं शताब्दी की प्रमुख और सबसे ज्यादा तनख्वाह वाली नौकरी है। आने वाले समय में ना केवल विदेशों में बल्कि भारत में भी सॉफ्टवेयर इंजीनियर्स की मांग तेजी से बढ़ने वाली है। हम उम्मीद करते हैं कि ये जानने के बाद कि सॉफ्टवेयर इंजीनियर कैसे बनें, आप भी एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर बन कर अपने सपनों को सच कर सकेंगे।
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